डाक विभाग कॉलोनियों में जाकर खोल रहा है सुकन्या समृद्धि खाते
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से जिला कलक्टर ने कोरोना वायरस को लेकर जिला अधिकारियों को दिये निर्देश
डूंगरपुर (लालशंकर रोत)। जिला कलक्टर काना राम ने कोरोना वायरस कोविड-19 वायरस के फैलाव एवं संक्रमण की रोकथाम के लिए जिले के समस्त उपखण्ड अधिकारी व परिवहन अधिकारी को सूचना तंत्र मजबूत करते हुए धारा 144 के निर्देशों की पालना कराने संबंधित विभिन्न कायों की समीक्षा हेतु वीडियों कॉन्फ्रेंस के जरिये प्रगति रिपोर्ट ली साथ ही आवश्यक दिशा निर्देश दिये।
उन्होंने जिला परिवहन अधिकारी, एवं समस्त उपखण्ड अधिकारी को भविष्य में आने वाली किसी भी विकट परिस्थिति के मध्यनजर प्रत्येक ब्लॉक के क्वेरेन्टाईन सेन्टर पर तीन-चार पेसेंजर व्हीकल, एक मिनीबस एवं एक बोलेरो की उपलब्धता सुनिश्चित करने जिले में पांच हजार लोगों हेतु हॉस्टल प्राईवेट स्कूल, निजी स्कूल हॉटल आदि चिन्हित् किये जाये। वर्तमान में वागदरी क्वेरेन्टाईन सेन्टर पर यह सुनिश्चित किया जाये कि इस सेन्टर पर कार्यरत टीम का हौसला बना रहे और उनके साथ अच्छा व्यवहार किया जाये। कोई भी व्यक्ति इस सेन्टर से बाहर नहीं जाये। इस सेन्टर हेतु उपयोग में लाये जा रहे वाहनों को प्रत्येक बार विसंक्रमित किया जाये। जिन व्यक्तियों को होम क्वेरेटाईन में रखा गया है, उनकी पहचान करते हुए लिस्टिंग की जाये साथ ही इस लिस्ट को संबंधित थानाधिकारी के साथ शेयर करें होम क्वेरेटाईन में दो प्रकार की सूची तैयार करने के निर्देश प्रदान किये है।
उन्होंने होम क्वेरेन्टाईन की प्रथम सूची विदेश से आने वाले व्यक्तियों की एवं दूसरी अन्य राज्यों या अन्य जिलों से आने वाले व्यक्तियों की सूची शत प्रतिशत तैयार करने को कहा है। महामारी अधिनियम के तहत यह उस व्यक्ति की उसके माता-पिता या अभिभावक की जिम्मेदारी है कि वे प्रशासन को इसकी तत्काल सूचना दे। ऐसा नहीं करने पर महामारी अधिनियम एवं आईपीसी की धारा 188 के तहत कार्यवाही की जाएगी। विदेशों से आने वाले व्यक्तियों में भी दुबई से आने वाले व्यक्तियों पर विशेष ध्यान दिया जाये। विदेशों से आने वाले व्यक्तियों की दुबारा प्रोपर स्क्रिीनिंग की जाये, इस हेतु मेडिकल ऑफिसर्स की मैंपिग की जाये और यह सुनिश्चित किया जाये कि, होम क्वेरेटान्ईन की पूर्णयता पालना हो।
उन्होंने बताया कि सबसे ज्यादा जरूरत इस बात की है कि ग्राम पंचायत स्तर तक समन्वय स्थापित कर महाराष्ट्र, कर्नाटक, गुजरात, झुंझुंनूं, भीलवाड़ा, प्रतापगढ़ से आने वाले व्यक्तियों की ग्राम पंचायत स्तर पर लिस्टिंग की जाये यह सुनिश्चित किया जाये कि ऐसे व्यक्तियों में यदि इन्फ्लुएंजा जैसे लक्षण हो तो डॉक्टर द्वारा उसकी स्क्रिनिंग की जाये। ऐसे व्यक्ति 14 दिवस तक होम क्वेरेन्टाईन में रहे इनकी निगरानी हेतु ग्राम स्तर पर नोडल अधिकारी नियुक्त किया जाये और इसमें जनप्रतिनिधियों का भी सहयोग प्राप्त किया जाये।
उन्होंने जिला परिवहन अधिकारी एवं जिला अधिकारियों को निर्देश दिये कि अति आवश्यक को छोड़कर शेष सभी वाहन बिना अनुमति के संचालित नहीं होगें। आवश्यक वस्तुओं जैसे फल, दूध, सब्जी आदि का परिवहन करने वाले वाहनों को रोका नहीं जाये ताकि आपूर्ति श्रंृखला बाधित ना हो। सरकारी वाहनों, एम्बुलेंस आदि के परिवहन पर रोक नहीं रहेगी। किसी भी प्रकार के सार्वजनिक परिवहन की अनुमति नहीं दी जाएगी। किसी व्यक्ति को मेडिकल इमरजेंसी होने की स्थिति में कॉमर्शियल पेसेंजर व्हीकल का इस्तेमाल करने दिया जा सकता है किन्तु संबंधित उपखण्ड अधिकारी तहसीलदार यह सुनिश्चित करेंगे कि वास्तव में मेेडिकल इमरजेंसी है और वाहन में मरीज के साथ न्यूनतम व्यक्ति यात्रा करें। बीट कॉस्टेबल को सही तरीके से सूचित किया जाये कि किस व्हीकल को रोकना है और किसे नहीं। इस हेतु संबंधित थानाधिकारी सभी कॉस्टेबल को प्रशिक्षण देवें।
जनता में विभान्ति की स्थिति है कि लॉकडाउन के दौरान कौनसी दुकानें खुली रहेंगी और कौनसी दुकाने बंद रहेगी। उपखण्ड अधिकारी, तहसीलदार, थानाधिकारी, विकास अधिकारी, अपने वाहन में पब्लिक एड्रेस सिस्टम का प्रयोग करते हुए जनता की जानकारी के लिए यह प्रचार-प्रसार किया जावे कि लॉकडाउन के दौरान मीडिया, प्रेस, सूचना प्रसारण, समस्त प्रकार के चिकित्सा संस्थान, आवश्यक सेवायें पेट्रोल पंप, सार्वजनिक वितरण प्रणाली की दुकानें, किराणा प्रोवीजन, फल सब्जी, दूध आदि की दुकानें, बैंक, एटीएम, पोस्ट ऑफिस, चिकित्सा उपकरणों से संबंधित दुकानें मेडिकल स्टोर्स आदि खुले रहेंगे। किसी भी पेसेंजर कॉमर्शियल व्हीकल का उपयोग मेडिकल इमरजेंसी के अलावा पाया जाने पर सख्त कार्यवाही की जाये। नाकांबदी पोइन्ट्स पर बेरीकेट्स लगाये जाये और बिना किसी आवश्यक कार्य के पॉवर बाईक्स आदि का इस्तेमाल करने पर कार्यवाही की जाएगी।
उन्होंने समस्त उपखण्ड अधिकारी, विकास अधिकारी को आमजन में जागरूकता फैलाने, धारा 144 का पूर्णता पालन करने के निर्देश प्रदान किये हंै।
दिये गये दिशा-निर्देशों की एक मेडिकल एवं नोन मेडिकल एरेंजमेंट्स की चेकलिस्ट तैयार करें और इसे रोजाना अपडेट करते रहें। इस संबंध में अपनी प्रगति की रिपोटिंग निम्नानुसार की जाएगी। रात्रि 10 बजे तक की प्रगति रिपोर्ट अगले दिन प्रात: 10 बजे पर, दोपहर 03 बजे तक की प्रगति रिपोर्ट उसी दिन सायं 05 बजे पर उपरोक्त सूचना कोविड-19 डंूगरपुर वॉहट्सप ग्रुप पर शेयर की जाएगी। किसी आपातकालीन स्थिति में जिला स्तरीय कोविड-19 टीम के साथ समन्वय किया जाए। काविड-19 डूंगरपुर वॉहट्सप ग्रुप पर चाही गई सूचना का तत्काल रेस्पॉन्स मिले और दिए गये आदेशों की भी तुरंत प्रभाव से पालना की जाए। एफपीएस से मार्च माह का राशन वितरण इस प्रकार किया जाए कि वहां ज्यादा लोग एकत्रित ना हो। साथ ही राशन वितरण राज्य सरकार के नये निर्देशानुसार हो बिना ओटीपी भी राशन वितरण हो यदि ओटीपी भी नहीं आ रहा हो तो रजिस्टर संधारित कर वितरण किया जाये। लॉकडाउन के दौरान ऐसे परिवारों को चिन्हित किया जाये जो दैनिक मजदूर हैं या परिवार जिन्हें लॉकडाउन के दौरान प्रशासन की तरफ से राशन वितरण की जरूरत रहेगी। जागरूकता रथ, पेम्पलेट आदि के माध्यम से हर घर तक कंट्रोल रूम के नम्बर एवं अन्य आवश्यक सूचनाएं संप्रेषित की जाये। स्टॉफ में कार्य वितरण उचित तरीके से करें। टीम में ज्यादा कार्मिक लगावें। ब्लॉक स्तर पर छोटे-छोटे सेल बनाकर कार्य वितरण किया जाये ताकि कम्यूनिकेशन तीव्र हो। आने वाले समय में स्थितियां विकट हो सकती है इसे ध्यान में रखते हुए कुछ तैयारियां ब्लॉक स्तर पर कर ली जाये।
उन्होंने समस्त उपखण्ड अधिकारियों को व्यापार मंडल की मीटिंग लेकर यह सुनिश्चित करने को कहा कि, आगामी दो माह तक आवश्यक वस्तुओं के स्टॉक में कमी नहीं आये। किसी भी व्यापारी द्वारा आवश्यक वस्तुएं, मास्क, सेनेटाईजर मूल दर से अधिक दर पर नहीं बेचा जाये। अगर किसी ब्लॉक में कर्फ्यू लगाना पड़े तो आवश्यक वस्तुओं को डिलीवरी हेतु लेबर कहां से मिलेगी इसके लिए उपखण्ड अधिकारी, तहसीलदार एवं अन्य कार्यालयाध्यक्ष ग्राम पंचायत स्तर पर पहले से मैंपिग करने के निर्देश दिये हैं। एफपीएस पर स्टॉक पर्याप्त है यह सुनिश्चित किया जावे। ऐसे परिवार चिन्हित किये जायें जो लॉकडाउन जारी रहने पर स्वयं के स्तर पर राशन की व्यवस्था नहीं कर पायेंगे। ऐसे परिवारों की प्रोपर मैपिंग की जाये जिसमें कुल व्यक्ति स्थान, जिससे राशन की आवश्यकता रहेगी आदि सूचना संकलित की जायें। इस हेतु शहरी क्षेत्र में ईओ एवं ग्रामीण क्षेत्रों में विकास अधिकारी नोडल अधिकारी के रूप में कार्य करेंगे। भामाशाहों, स्वयंसेवी संस्थाओं व्यापार मण्डल जनप्रतिनिधियों आदि का भी आवश्यक सेवाओं की उपलब्धता एवं वितरण हेतु सहयोग प्राप्त करें।